कानपुर में गंगा मेला के साथ धूमधाम से हुआ रंगोत्सव का समापन

देश की आजादी के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने वाले अमर शहीद क्रांतिवीरों के सामने अंग्रेजों द्वारा घुटने टेकने की खुशी का ही परिणाम है कानपुर का एतिहासिक गंगा मेला ,हटिया से निकला रंग का ठेला

– विभिन्न राजनीतिक, सामाजिक संगठनों और कमिश्नरेट पुलिस ने भी कैंप लगाकर लोगों को दी होली की मुबारकबाद

सुनील बाजपेई
कानपुर। आज यहां अनुराधा नक्षत्र में सोमवार को विशाल गंगा मेले के साथ रंगोत्सव यानी होली महापर्व का समापन हो गया। आज सरसैयाघाट पर क्रांतिकारियों की ही स्मृति में बड़ी धूमधाम से लगने वाले यह एतिहासिक गंगा मेला देश की आजादी के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने वाले अमर शहीद क्रांतिवीरों के सामने अंग्रेजों द्वारा घुटने टेकने की खुशी का ही परिणाम है।

उल्लेखनीय यह भी कि यह एतिहासिक मेला अनुराधा नक्षत्र में ही लगता है। यह भी क्रांति कारियों की अंग्रेजों की दमन नीति पर विजय हासिल करने के समय की बात है ,क्योंकि उस दिन अनुराधा नक्षत्र ही था ,जब शहर के बंदी क्रांतिकारी ना केवल कारागर से मुक्त हुए थे बल्कि उन्होंने उसी दिन हटिया में तिरंगा भी फहराकर पूरे शहर में पूरे दिन होली मनाने के साथ ही मेले का भी आयोजन किया था और तब से लेकर आजतक इस गंगामेला का आयोजन बड़ी धूमधाम से हर साल किया जाता है।
यह दौर भी 1942 का था। जब देश की स्वतंत्रता के लिए राष्ट्रीय आंदोलन अंग्रेजों भारत छोड़ो चलाया गया था, तब इसी होली वाले दिन स्वतंत्रता सेनानियों ने तिरंगा फहराया था। उसी दिन अंग्रेजों ने क्रांतिकारीअमीर चंद सेठ , हामिद खान , झंडा ऊंचा रहे हमारा के रचयिता कविवर श्याम लाल गुप्त पार्षद ,अमरीक सिंह ,रघुवर दयाल भट्ट , बाल किशन शर्मा और पीताम्बर लाल समेत अनेक क्रांतिकारियों को गिरफ्तार भी कर लिया था।
तब उस दिन इससे पूरा शहर बहुत गुस्से में था और लोग होली खेलना बंद कर सभी स्वतंत्रता सेनानियों की रिहाई के लिए सडक़ों पर उतर आये थे। परिणामत: इस भारी विरोध को देखकर ब्रिटिश शासन को उन्हें रिहा करना पड़ा था। उस दिन भी यही अनुराधा नक्षत्र था। अलबत्ता तब से लेकर आजतक पूरे दिन होली त्योहार मनाया जाता है और शाम को पवित्र गंगा के तट सरसैया घाट पर विशाल मेले का भी आयोजन किया जाता है।
वहीं आज गंगा मेले की इस अवसर पर विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक संगठनों आदि ने अपने कैंप लगाकर गले मिलकर लोगों को होली की मुबारकबाद भी दी। इस दौरान कमिश्नरेट पुलिस के कैंप में भी भारी भीड़ रही, जहां पुलिस के अधिकारी लोगों से गले मिलते नजर आए। इस मेले में हर साल की तरह इस बार भी भारतीय जनता पार्टी के सांसद , एम एल सी के साथ ही समाजवादी पार्टी के विधायक नेता और पदाधिकारी भी शामिल हुए। यहां विभिन्न पत्रकार संगठनों ने भी अपने कैंप लगाकर मेले में भाग लिया।

हटिया से निकला रंग का ठेला : यहां होलि कोत्सव के समापन के रूप में सरसैया घाट लगने वाले गंगा मेला के पहले आज सोमवार की सुबह से ही पूरे शहर में रंगों की बौछार हुई और गुलाल उड़ा। इस अवसर पर रज्जन बाबू पार्क हटिया से रंग का ठेला भी निकला जो विभिन्न क्षेत्रों में घूमा। जगह-जगह मटकी फोड़ प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया।
इस बीच जनरलगंज, बिरहाना रोड, नयागंज, पटकापुर, मालरोड आदि क्षेत्रों में तो होरियारों पर लोग घर की छतों से रंग डाला। दोपहर डेढ़ बजे तक ही फिजा में अबीर और गुलाल उड़े। इसके बाद सरसैया घाट पर मेले का आयोजन किया गया। जिसके बाद गंगा मेले के साथ ही होली पर्व का समापन भी हो गया। इस दौरान सुरक्षा के भी कड़े इंतजाम रहे।

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