भू माफिया अपने काम को दे अंजाम,प्रशासन बना मूकदर्शक

व्यूरो रिपोर्ट

ओबरा (सोनभद्र) थाना ओबरा के नगर क्षेत्रों में भू माफिया है सक्रिय, वे विवादित भूमि,जो न्यायालयों में विचाराधीन है,

ऐसे जमीनों का वे अपने,भय-षणयंत्र साजिस के बल पर भू क्रय करने का कार्य हो रहा है, मूल्यवान जमीनों के वास्तविक मूल्यों के बहुत कम कीमत में ही जमीन क्रय करने का कार्य हो रहा।

भू माफिया जमीन को क्रय करने के उद्देश्य से, वे साजिस व छल से,वे अपने कर्ज जाल में फासके भूमि खरीद कार्य करता और वे नकद रुपया कर्ज देने का व्यवसाय करता,व गैर कानूनी और आयकर चोरी का है,

बता दे नगर के चोपन रोड स्थित “किचन गैलरी शॉप एव मोबाइल का बड़ा व्यवसायी स्वरुप में अवतंरित है, बता दे विगत चार माह पूर्व चोपन रोड स्थित कमला देवी बनाम कांता, पनारू, दुखरन की विवादित भूमि जो ,सिविल न्यायालय राबर्ट्सगंज में विचाराधीन था,

भू माफिया ने उक्त भूमि की वास्तविक मूल्य से बहुत कम कीमत में ही क्रय किया गया,एक को अपने,कर्ज के साजिस व षणयंत्र के जाल में फासके,

भूमि क्रय किया गया था,लेकिन उपरोक्त मुकदमे में प्रतिवादी परिवार के कुछ सक्रिय सदस्यों के आपत्ति के कारण,मामला भू माफिया के बीच,लगभग डेढ़ माह तक उलझा रहा,

उस दौरान व्यवसायी स्वरूप का मुखौटा बेनकाब और षणयंत्र का सच प्रशासन के सामने उजागर हुआ,और ओबरा पुलिस और तहसील प्रशासन के न्यायोचित कार्यवाही ने भू माफिया को फटकार लगा और मामले को सुलह समझौता कर समाप्त कराया। लोग बताते है की,

भू माफिया लगभग पिछले तीन सालो में नगर के क्षेत्रों में 6/7प्लाट,नगर के कई हिस्सो में, भूमि क्रय और बिल्डिंग बनाने में लगभग 3 करोड़ का,अचल संपत्ति अर्जित किया।

लोगो का मानना है की भू माफिया के भूमि क्रय व षणयंत्र कार्य एव गैर कानूनी ढंग से कर्ज कारोबार व अन्य व्यवसायिक प्रतिष्ठानो का निरीक्षण व जाँच कार्यवाही से सच का पता लग सकता है,

देखना होगा की आयकर विभाग एव जिला प्रशासन जाच करने बजाय मूकदर्शक रहे,तो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के भू माफिया के खिलाफ कार्यवाही खोखला सावित होगा।

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