उपरोक्त बातें आज संपूर्ण भारत क्रांति पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव सह झारखंड, छत्तीसगढ़ के प्रभारी विजय शंकर नायक ने भाजपा पर झारखंड में संविधान का माखौल एंव उल्लंघन करने का आरोप लगाते हुए उक्त बातें कही । इन्होंने आगे कहा कि *सीएम हेमंत सोरेन के कार्यकाल की आखिरी तारीख थी 31 जनवरी बतौर सीएम चंपई सोरेन का कार्यकाल 2 फरवरी से शुरू हुआ है ।1 फरवरी को झारखंड में कोई सरकार नहीं थी। राज्यपाल के नाम पर सरकार की कोई व्यवस्था संविधान में नहीं है*।
*देश के इतिहास में ऐसा शायद पहली बार हुआ है*।
श्री नायक ने यह भी कहा कि भारतीय जनता पार्टी के लोग अब प्रत्यक्ष रूप से संविधान का उल्लंघन कर यह संदेश देना चाहते कि भारतीय जनता पार्टी प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से संविधान को नहीं मानती है । यह घटना लोकतंत्र के हत्या के समान है जिसकी संपूर्ण भारत क्रांति पार्टी कड़े शब्दों पर इसकी निंदा करती है । आज देश में भारतीय जनता पार्टी ईडी,सीडी, सीबीआई का गलत उपयोग कर अपने विरोधियों एंव विपक्षी पार्टियों को समूल रूप से नाश करने पर तुली है जो भारत जैसे लोकतंत्र के लिए शुभ संकेत नहीं है जिसकी हम कड़े शब्दों में निंदा करते हैं । इन्होंने यह भी कहा कि भाजपा में भ्रष्टाचारी व्यभिचार अगर चला जाए तो वह शुद्ध गंगा के समान हो जाता है और वह दूसरी पार्टियों में रहे तो वह भ्रष्टाचारियों व्यभिचारी कहलाता है ।
श्री नायक ने आगे कहा कि संविधान और कानून सबके लिए सम्मान है चाहे कोई भी हो संविधान और कानून का सम्मान करना आवश्यक है संविधान से देश चलेगा ना कि भारतीय जनता पार्टी के पार्टी सिद्धांत पर आज भारतीय जनता पार्टी को बताना चाहिए की 1 फरवरी 2024 बिना मुख्यमंत्री का यह राज्य कैसे रहा और उस दिन क्या राष्ट्रपति शासन था इसको जनता को बताना होगा । भारतीय जनता पार्टी के संपोषित राज्यपाल ने झारखंड के इतिहास एवं देश के इतिहास में एक नया संवैधानिक संकट खड़ा कर एक नया काला अध्याय जोड़ने का काम किया है जो झारखंड की जनता और देश की जनता कभी माफी देने का काम नहीं करेगी ।