संतकबीरनगर । जिलाधिकारी महेन्द्र सिंह तंवर की अध्यक्षता में जिला स्वास्थ समिति (शासी निकाय) के कार्यक्रमों/संचालित योजनाओं की अद्यतन स्थिति एवं प्रगति की समीक्षा बैठक कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित हुई। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी संत कुमार उपस्थित रहे।
जिलाधिकारी द्वारा बैठक में जिला स्तर पर विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों, स्वास्थ्य संकेतको की अद्यतन स्थिति एवं प्रगति पर बिंदुवार समीक्षा की गयी। बैठक में डीपीएम विनित कुमार श्रीवास्तव ने एजेंडा बिंदु सहित विभिन्न स्वास्थ्य कार्यक्रमों की अद्यतन स्थिति से जिलाधिकारी को अगवत कराया।
जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्साधिकारी सहित सम्बंधित विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया है कि स्वास्थ्य कार्यक्रमों के क्रियान्वयन में कदापि लापरवाही न बरती जाए, बच्चों एवं गर्भवती महिलाओं का रूटीन टीकाकरण, बच्चों में कुपोषण के स्थिति की जांच आदि की विभागीय स्तर पर नियमित समीक्षा की जाए।
स्वास्थ्य सेवाओं की समीक्षा के दौरान जिलाधिकारी ने जननी सुरक्षा योजना के व्यवस्थित संचालन, ग्रामीण स्तर पर कार्यरत स्वास्थ्य कार्यकत्रियों जैसे-आशा एवं ए0एन0एम0 की कार्य प्रणाली, संस्थागत प्रसव की दर में गिरावट तथा विभागीय स्तर पर इसकी समीक्षा आदि में लापरवाही पाये जाने पर असंतोष व्यक्त करते हुए सम्बंधित चिकित्साधिकारियों को निर्देशित किया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा संचालित जितनी भी सेवाओं/योजनाओं का संबंध ग्रामीण स्तर पर कार्यरत स्वास्थ्य कार्यकत्रियों (आशा/एएनएम) से है उसकी समीक्षा अनिवार्य रूप से मुख्य चिकित्साधिकारी एवं सम्बंधित चिकित्साधिकारीगण एक-एक आशा/एएनएम के सापेक्ष सुनिश्चित करते हुए अगली बैठक में आख्या उपलब्ध कराये। उन्होंने कहा कि ग्रामीण स्तर पर कार्यरत स्वास्थ्य कार्यकत्रियों विशेष तौर पर आशाओं द्वारा उनके गॉवों में होने वाले प्रसव का प्रतिमाह विधिवत डाक्युमेन्टेशन कर अपने उपर के अधिकारियों को प्रेषित किया जाए और अंतिम रूप से डीसीपीएम द्वारा मासिक रिपोर्ट तैयार कर उपलब्ध करायी जाए। प्रधानमंत्री जननी सुरक्षा योजना में लाभार्थी को भुगतान नही मिलने और उसी के सापेक्ष सम्बंधित आशा को भुगतान कर दिये जाने को गम्भीरता से लेते हुए जिलाधिकारी ने डीसीपीएम को फटकार लगायी और कहा कि निर्धारित और एक ही प्रारूप पर सभी आशाओं द्वारा रिपोर्ट प्राप्त की जाए। उन्होंने कहा कि जबतक ग्रामीण स्तर पर कार्यरत स्वास्थ्य कर्मी जो सीधा बेनिफिसरी तक पहुॅच रखता है, संवेदनशील एवं अपने उत्तरदायित्वों का निर्वहन नही करेगा तब तक व्यवस्था में सुधार नही होगा। इसलिए उन्होंने कहा कि अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन न करने वाली स्वास्थ्य कार्यकत्रियों के विरूद्ध कार्यवाही भी सुनिश्चित कराई जाए।
जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिये है कि जनपद के समस्त निजी चिकित्सालयों का रजिस्ट्रेशन की जांच एवं जनपद के समस्त वैधानिक रूप से लाइसेन्स प्राप्त चिकित्सालयों/नर्सिंग होम की सूची भी आम नागरिकों के सुविधा हेतु जारी कर दी जाए।
समीक्षा के दौरान चिकित्सालयों में दवाओं की उपलब्धता के साथ-साथ एन्टी स्नेक की इन्जेक्शन की उपलब्धता, आशाओं का भुगतान, आयुष्मान भारत योजना के तहत बनाये जाने वाले आयुष्मान कार्ड, प्रधानमंत्री मातृ वन्दना योजना की समीक्षा सहित विभिन्न राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रमों के अन्तर्गत जनपद में संचालित कार्यक्रमों/योजनाओं की विस्तृत समीक्षा की गयी। जनपद में आयुष्मान कार्ड बनाये जाने की धीमी प्रगति पर असंतोष व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी ने इसमें तेजी लाने एवं आवश्यकतानुसार कैम्प का आयोजन कर चिन्हित लाभार्थियों को कार्ड उपलब्ध कराने हेतु निर्देशित किया। बताया गया कि जनपद में कुल 6,67,407 आयुष्मान कार्ड बनाये जाने है। जिसमें अबतक 4,15,813 आयुष्मान कार्ड बनाया जा चुका है। जिलाधिकारी ने प्रत्येक गॉव में बनाये गये आयुष्मान कार्ड के सापेक्ष आच्छादित होने वाले परिवारों की संख्या का स्पष्ट विवरण भी उपलब्ध कराने हेतु निर्देशित किया।
उल्लेखनीय है कि दिनांक 01 जुलाई से 31 जुलाई 2024 तक जनपद में विशेष संचारी रोग नियंत्रण/दस्तक अभियान चलाया जाएगा। इस संबंध में जिलाधिकारी ने विशेष रूप से बरसात के मौसम को देखते हुए संचारी रोगों से बचाव हेतु नालों की सफाई, छिडकॉव कराने से सम्बंधित अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि इस संबंध में ग्रामीणों को जागरूक भी किया जाए। उन्होंने कहा कि संचारी रोग नियत्रण अभियान में प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष रूप से सम्बंधित सभी विभाग आपसी समन्वय बना कर कार्य करें।
जिला स्वास्थ्य समिति शासी निकाय एवं आर.एम. एन.सी.एस की समीक्षा बैठक में विगत बैठक में दिये गये निर्देशों के अनुपालन एवं प्रगति/सुधार की भी समीक्षा की गयी।
जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्साधिकारी एवं मुख्य चिकित्साधिक्षक को जनपद के सभी चिकित्सालयों में ओपीडी के दौरान किस विभाग से सम्बंधित कितने मरीजों का उपचार किया गया इससे सम्बंधित विगत वर्ष की सूची भी उपलब्ध कराने हेतु निर्देशित किया।
जिलाधिकारी ने निर्देशित किया कि स्वास्थ्य योजनाओं/कार्यक्रमों के संचालन एवं आउटपुट की सतर्क मॉनीटरिंग भी की जाए। जिलाधिकारी ने कहा कि संचारी रोग नियंत्रण अभियान के अन्तर्गत कराये जा रहें कार्यो का फीड बैक भी जनसामान्य से लिया जाता रहे।
जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देशित किया कि पूरे स्वास्थ्य विभाग को फील्ड में एक्टिवेट करें व स्वास्थ्य संकेतको में बेहतर परफॉर्मेंस दिखाएं। उन्होंने सभी अधीक्षकों को लीडरशिप रोल लेते हुए अपने-अपने ब्लॉक में स्वास्थ्य संबंधी योजनाओं का जमीनी स्तर पर क्रियान्वयन सुनिश्चित कराते हुए इसकी मॉनिटरिंग करने का निर्देश दिया।
इस अवसर पर मुख्य चिकित्साधिकारी डा0 रामानुज कन्नौजिया, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डा0 भवनाथ पाण्डेय, ए0सीएमओ महेन्द्र प्रसाद, जिला क्षय रोग अधिकारी डा0 एसडी ओझा, जिला बेकिस शिक्षा अधिकारी अमित कुमार सिंह, जिला समाज कल्याण अधिकारी महेन्द्र कुमार, जिला पंचायत राज अधिकारी, ई0ओ0 नगर पालिका अवधेश भारती, जिला कार्यक्रम अधिकारी सत्येन्द्र सिंह, सूचना अधिकारी सुरेश कुमार सरोज, सी0एच0सी/पी0एस0सी के चिकित्साधिकारी सहित सम्बंधित अधिकारी आदि उपस्थित रहे।