लखनऊ
त्रिवेणी साहित्य संस्थान के संस्थापक रामानंद सैनी ने बताया कि पिता श्री सुंदर लाल कि याद में दिया जाने वाला यह सम्मान प्रतिवर्ष एक शिक्षक को प्रदान किया जाता है l सम्मान के रूप में अंगवस्त्र, प्रतीक चिन्ह, पुष्पमाला, पुस्तक और सम्मान पत्र दिया जाता है l जिसे प्रशांत सैनी मंजू सैनी, प्रदीप शुक्ला और जय सिंह द्वारा प्रदान किया गया l
मुख्य अतिथि स्थानीय सभासद श्री रामनरेश रावत ने सभी लोगों से माता पिता की सेवा करने का वचन लिया l उन्होंने सभी कवियों की मुक्त कंठ से सराहना की l इस अवसर पर सरल जी के सम्मान में एक काव्य गोष्ठी का आयोजन भी किया गया l
जिसमें अशोक विश्वकर्मा, शरद पांडये, गोबर गणेश, श्रीमती मुखर्जी जी,सूर्यकान्त अंगारा, कमल किशोर तिवारी भावुक, हरनाम सिंह, रवि दुबे, अरुण नागर, अजय प्रसून, अलका अस्थाना, मनमोहन बारा कोटी, सुनीता चतुर्वेदी, सम्पत्ति कुमार मिश्र, पवन कुमार, रामराज भारती, सौरव, रामानंद सैनी, अमित अधूरा समेत कई कवियों ने काव्य पाठ किया l कार्यक्रम का संचालन अनिल जैस वार ने किया l धन्यवाद भाषण रामानंद सैनी ने दिया l