कानपुर कार्डियोलॉजी : करोड़ों की संपत्ति खरीद से चर्चा में प्राइवेट प्रैक्टिस में अव्वल उमेश्वर

हॉस्टल और कोचिंग सेंटरों के संचालन से भी हो रही भारी कमाई

– फीस और दवाओं में 30 परसेंट की छूट का लालच देकर घर या क्लीनिक पर बुलाते हैं मरीज

– मकान, दुकान और भूखंड आदि खरीदने में भी लगाई जा रही है प्राइवेट प्रैक्टिस से होने वाली कमाई

सुनील बाजपेई
कानपुर। यहां कार्डियोलॉजी में आजकल प्राइवेट प्रैक्टिस करने वाले डॉक्टर हावी है। मतलब वह कार्डियोलॉजी के साथ ही अपनी प्राइवेट प्रैक्टिस के जरिए भी भारी कमाई करने में सफल है। जबकि सरकारी तौर पर नियुक्ति के नाते कोई भी चिकित्सक प्राइवेट प्रैक्टिस नहीं कर सकता, लेकिन कार्डियोलॉजी के कुछ एक चिकित्सक सरकार के इस आशय के आदेश ,निर्देश और नियम नहीं मानते। और वह अपनी प्राइवेट प्रैक्टिस धड़ल्ले से खुलेआम कर रहे हैं। यही नहीं कार्डियोलॉजी में नियुक्ति के बदले सरकार से मिलने वाले वेतन के साथ ही प्राइवेट प्रैक्टिस से होने वाली यह भारी कमाई करोड़ों के मकान, दुकान और भूखंड आदि खरीदने में भी लगाई जा रही है।

कार्डियोलॉजी सूत्रों के हवाले से मिली जानकारी के मुताबिक प्राइवेट प्रैक्टिस करने वाले डॉक्टरों द्वारा अपनी क्लीनिक में इलाज हेतु आने के लिए मरीजों को अनेक प्रकार के प्रलोभन भी दिए जा रहे हैं ,जिसमें फीस और दवाओं की खरीदारी में भरी छूट का प्रलोभन भी शामिल है।

भरोसे में सूत्रों से मिली जानकारी और हो रही चर्चाओं के मुताबिक अगर आप हृदय रोगी हैं तो आपको हदय रोग संस्थान यानी कार्डियोलॉजी जाने की जरूरत नहीं है। आप इसके लिए सीधे डॉक्टर उमेश्वर पांडेय के घर या क्लिनिक चले जाइए। जहां इलाज करने पर वह ली जाने वाली अपनी फीस के साथ ही दवाओं में भी में 30% की छूट भी देंगे।
उनसे इलाज कराने वाले हृदय रोगियों से जुड़े सूत्रों के मुताबिक जो लोग उनसे घर या प्राइवेट प्रैक्टिस क्लीनिक पर इलाज कराते हैं। वह बहुत फायदेमंद होता है, जबकि कार्डियोलॉजी में वह मरीजों के साथ इतना अच्छा नहीं करते।

कार्डियोलॉजी के विभागाध्यक्ष डॉ उमेश्वर पांडेय से उनके घर क्लीनिक पर इलाज कराने वाले हृदय रोगियों और तीमारदारों द्वारा किए गए भरोसेमंद सूत्रों से किए गए दावे के मुताबिक ली जाने वाली फीस और दवाओं की खरीददारी में 30 परसेंट की छूट ने कार्डियोलॉजी के विभागाध्यक्ष डा. उमेश्वर पांडे के काकादेव सर्वोदय नगर स्थित मकान और काकादेव रानीगंज स्थित निजी क्लिनिक में भी इलाज आने वाले हृदय रोगियों की संख्या में भी भारी इजाफा किया है।

कार्डियोलॉजी के भरोसेमंद सूत्रों के मुताबिक हृदय रोगियों को भटकना नहीं पड़ता। उनके संपर्क में रहने वाली हृदय रोगियों और उनके तीमारदारों की संख्या भी सैंकड़ों में बताई जाती है ,जिसकी वजह उनका मूल रूप से कानपुर का ही निवासी होना है। इसके लिए डॉक्टर उमेश्वर पांडे ने कुछ लोगों को नियुक्त भी कर रखा है ,जो कि मरीजों को समय पर उनके घर या रानीगंज काकादेव वाली क्लीनिक पर पहुंचा देते हैं।
शुभचिंतक सूत्रों के मुताबिक कार्डियोलॉजी के विभागाध्यक्ष उमेश्वर पांडेय चिकित्सा के साथ ही शिक्षा के क्षेत्र में भी लोगों का सहयोग कर रहे हैं। उन्होंने इसके लिए हॉस्टल के साथ ही चार कोचिंग सेंटर भी खोल रखे हैं जहां फीस भले ही अधिक ली जाती हो लेकिन छात्रों की पढ़ाई में कसर नहीं रखी जाती।
उनसे जुड़े सूत्रों के मुताबिक उनका कुछ और भी खास करने का इरादा है। इसीलिए स्थानीय नवाबगंज के साथ ही ग्वालियर में भी भूखंडों और मकान आदि के रूप में करोड़ों की प्रॉपर्टी खरीदने की भी चर्चा है।

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