कई बार संबंधित अधिकारियों को कराया गया अवगत लेकिन नहीं हुआ निस्तारण
हाईटेंशन लाइन की जकड़ में प्राथमिक विद्यालय गढ़िया जगन्नाथ
अलीगंज।नौनिहालों की जिंदगी इतनी सस्ती हो सकती है इसका अंदाजा भी नही लगाया जा सकता है। तभी तो बिजली विभाग परिषदीय स्कूलों के परिसर से ऐसी खतरनाक जर्जर तारों को दौड़ाए हुए है जो कभी भी हादसे का कारण बन सकती हैं। अब विभागीय उदासीनता कहें या कुछ और लेकिन एक बात तो साफ है कि कर्मचारी हो या अधिकारी कार्य के प्रति कितनी संजीदगी दिखाते है ये किसी से छुपा नही है। बार -बार शिकायत के बाद भी बिजली विभाग ने विद्यालय के ऊपर से जा रही तार को नही हटाया गया।
अलीगंज ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय गढ़िया जगन्नाथ में पढ़ने वाले बच्चों की जिंदगी से कैसे खिलवाड़ किया जा रहा है ये तो विद्यालय परिसर से गुजरी हाईटेंशन लाइन बताने के लिये काफी है।परिसर में हिचकोले ले झूलती तार पता नही कब अनहोनी कर बैठे सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है।
विद्यालय के शिक्षक ने इसकी जानकारी मौखिक व लिखित कई बार संबंधित विभाग को दी है। इसके बावजूद भी आज तक तार नही हटाया जा सका। वही आइजीआरएस पोर्टल के माध्यम से भी ऑनलाइन शिकायत दर्ज कराई लेकिन कोई भी समस्या का हल नहीं निकला।
वहीं आठ माह पहले अधीक्षण अभियंता मंडल अलीगढ़ ने शिकायत का निस्तारण किया जिसमें एस्टीमेट बनाकर अतिशीघ्र समस्या का समाधान करने का आश्वासन दिया था लेकिन आज तक कोई भी कार्रवाई नहीं की गई। अभिभावक भी अपने बच्चों को विद्यालय भेजते समय दिल पर पत्थर रख लेते हैं।
ग्राम गढ़िया जगन्नाथ विपिन राठौर का कहना है कि विद्यालय में बच्चों को भेजने से डर लगता है कहीं झूलते तार में हमारा बच्चा हादसे का शिकार ना हो जाए। जबकि कई बार शिकायत की जा चुकी है कि इस समस्या का समाधान किया जाए लेकिन आज तक सिर्फ आश्वासन मिला है समस्या का समाधान नहीं किया गया है।
प्रधान ग्राम पंचायत गढ़िया जगन्नाथ अखिलेश सिंह राठौड़ का कहना है कि बच्चों की जिंदगी इतनी सस्ती है कि शिक्षा ग्रहण करने जा रहे बच्चों के ऊपर मौत झूलती रहती है। विद्युत विभाग को इस और ध्यान देना चाहिए वरना किसी दिन बड़ा हादसा हो सकता है।
प्राथमिक विद्यालय गढ़िया जगन्नाथ के प्रधानाचार्य राजीव रतन शाक्य ने बताया कि कई बार इस स्थिति से संबंधित अधिकारियों को लिखित व मौखिक के माध्यम से अवगत कराया गया है वही आइजीआरएस पोर्टल के माध्यम से भी अधिकारियों के संज्ञान में डाला गया लेकिन इस प्रकरण में अभी तक किसी के द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई है।
एसडीओ सोनू निगम का कहना है कि मेरे संज्ञान में अब आया है इससे पूर्व कोई भी मामला मेरे संज्ञान में नहीं था। जल्द ही उचित कार्रवाई की जाएगी।
दिलीप सिंह मंडल ब्यूरो एटा उत्तर प्रदेश